Wednesday, April 25, 2018



'मेरे हमदम मेरे दोस्त '
'आमने सामने ' 'आप की कसम ',
'आप के खातिर'
'कभी कभी ' 'नदिया के पार '
'दूर गगन की छाव में '
'पत्थर के सनम '
'हम भी इन्सान है' |
कहते थे 'बेगम '
'दिल की रानी' बना के रखूगा |
'दिल है की मनाता नहीं'
'हम दिल दे चुके सनम '|
'सावित्री ' 'निर्मला ', 'शारदा'-
' नजमा' और 'किरण ''प्रतिमा ' 'एलन '
लगती तुमको सब ' नुरजन्हा'|
इनको 'नदिया के पार ले जाओगे '
'नया संसार 'बसाओगे |
तुम हो'मि.नटवरलाल '

चालक 'शिकारी '|
लगते थे कभी -
'राम भगत हनुमान ' '
'भगत सिंह ' 'चंद्रशेखर ' 'मोहन '

Tuesday, February 4, 2014

आज बंसन्त पंचमी है माँ सरस्वती जी का दिन , माँ हम सभी को सद्बुद्धि दे , ताकि हम सभी नेक काम करे और को भी इसकी प्रेरणा दे -
                        वर दे, वीणावादिनि वर दे !
प्रिय स्वतंत्र-रव अमृत-मंत्र नव
        भारत में भर दे !

काट अंध-उर के बंधन-स्तर
बहा जननि, ज्योतिर्मय निर्झर;
कलुष-भेद-तम हर प्रकाश भर
        जगमग जग कर दे !

नव गति, नव लय, ताल-छंद नव
नवल कंठ, नव जलद-मन्द्ररव;
नव नभ के नव विहग-वृंद को
        नव पर, नव स्वर दे !
वर दे, वीणावादिनि वर दे।
माँ सरस्वती जी के अन्य नाम माँ शारदा ;माँ वीणा; माँ वग्शेवरी ;माँ भारती ;वग्देवी और शतरूपा है   

Friday, March 16, 2012

टुटा दिल

आज किसी अपने से इस तरह मिले -
दिल के टुकड़े टूट कर बिखरे |
इस तरह अरमानो का खून हुआ -
बहुत करीब आके कोई दूर हुआ |
खेला इस तरह दिले-ज़ज्बात से -
खेलता है जैसे कोई ,
अजनबी ख्यालात से |
दोराहे पर लाकर साथ -
मेरा छोड़ा है |
जिसे प्यार समझ कर -
सज संवर रहे थे, उस -
प्यार ने आज दिल मेरा तोडा है |

Friday, December 9, 2011

मै सोई नही थी


मै सोई नहीं थी -
रात में जागी,संग तुम्हारे रात भर,
तुम क्या जानो ,रात भर रोई -
संग तुम्हारे|
तुम क्या जानो तुमने कितना -
खुद को उलझा लिया है |
आस पास तुमने अपने 'च्रकव्यूह'
रचा लिया है |
सुलझ-सुलझ कर मै उलझी
'च्रकव्यूह' मै तुम्हारे रात भर |
मै सोई नहीं थी ......
रात मै ........
हर एक तुम्हारा अपना है ,
हर एक के हो तुम करीब |
समझ के भी न समझे कुछ -
तुम थे मेरे सबसे समीप|
जान पूछ कर तुम ने अपना ,
हाल ये बना लिया है |
उलझ-उलझ कर मै न सुलझी -
सच जानो तुम रात भर |
मै सोई नहीं थी
रात मै जागी ....

Monday, December 5, 2011

क्यू



आपका सपनों में आना -
आके बातो का बनाना |
कर रहा दिल को मजबूर -
आ ना जाए मुझ में गुरुर ||
आपका सपनों ......
प्यार मुझको हो चुका है ,
मेरा खुदा भी हो चुका है |
दिल भी उसका हो ,
चुका है |
ना कर मुझको मुझसे दूर
आ ना जाए मुझ में गुरुर |
आपका सपनों में आना -
आके बातो का बनाना |
आप तो है एक सपना -
चुपके से आये ,जायेगे |
कभी अश्क कभी सपना ,
कभी दर्द बन जायेगे |
हो जाओ आखो से दूर -
आ ना जाए मुझ में गुरुर |
आपका सपनों में आना -
आके बातो का बनाना |

Tuesday, November 29, 2011

मतलब पता नही

अपनी तन्हाई से -
उसकी बेवफाई से ,
डर लगता है
अपनी परछाई से-
उसकी रुसवाई से ,
डर लगता है |
वो प्यार करता है -
मुझे हद से ज्यादा |
हो न जाए मुझसे जुदा -
उसकी जुदाई से डर
लगता है |

Monday, November 28, 2011

हो रहा भारत

आज फिर कुछ लोग सरकार की -
निंदा कर रहे थे |
हमारी ही तरह समय पास कर -
रहे थे |
किसी ने पार्क को पार्किंग -
बना दिया था |
कही किसी ने पेड़ काट-
दिया थे |
दोनों काम दोनों की
मर्ज़ी से हुए थे |
इल्ज़ाम सरकार के माथे मड़-
रहे थे
जनता सो रही है |
सरकार सुला रही है -
गरीबो को मीठी गोली -
खिला रही है ,
जो कर सकते है कर -
नहीं रहे -
व्यजन खाकर मीठी नीद ले रहे है |
मिला कर हाथ सरकार से -
गोलमाल कर रहे -
सरकार उनको चला रहीहै -
वो सरकार चला रहे है |
गरीब दो पाटो के बीच गेहू से -
पीस रहे है -
क्योकि -
सरकार ने उन्हें दाना डाल दिया है |
वो अपना मुह बंद रखे -
क्योकि सरकार देश नहीं खुद को -
चला रही है, देश खा रही है |
क्योकि सुनने में आ रहा है ............
हो रहा भारत ..............